'हमें अभी पता चला कि हमारे शो की रिलीज़ के ठीक एक सप्ताह बाद नेटफ़्लिक्स पर बार्ड ऑफ़ ब्लड आ रही है। तो अचानक दोनों की एक-दूसरे से तुलना की जाने लगी है।'
राज निदिमोरू और कृष्णा डीके -- जो राज ऐंड डीके के रूप में मशहूर हैं -- अपनी पहली वेब सीरीज़ द फ़ैमिली मैन को दर्शकों की ओर से मिले ज़ोरदार रेस्पॉन्स से काफ़ी ख़ुश हैं।
मनोज बाजपाई, प्रियामणि, शारिब हाशमी, शरद केलकर और कई अन्य सितारों से भरी द फैमिली मैन को सभी जगह से अच्छे रीव्यूज़ मिल रहे हैं।
शोर इन द सिटी, गो गोवा गॉन और स्त्री जैसी कई अलग तरह की फिल्में बनाने के बाद, राज ऐंड डीके ने बताया कि द फैमिली मैन के साथ वो आतंकवाद पर बनी साधारण स्क्रिप्ट नहीं बनाना चाहते थे।
"वेब सीरीज़ के लिये इस तरह का विषय चुनने के बाद, हमने फिल्मों से कहीं ज़्यादा कुछ आज़माने की कोशिश की," उन्होंने रिडिफ़.कॉम की संवाददाता दिव्या सोलगामा को बताया।
क्राइम थ्रिलर वेब सीरीज़, द फैमिली मैन बनाने के पीछे क्या सोच छुपी है?
हमने गो गोवा गॉन जैसी पाग़लपन वाली, शोर इन द सिटी जैसी कड़वी लेकिन मज़ेदार, स्त्री जैसी हॉरर कॉमेडी फिल्में बनाई हैं....
हमने फिल्मों से अपनी आज़ादी को बुना है।
वेब सीरीज़ के लिये इस तरह का विषय चुनने के बाद, हमने फिल्मों से कहीं ज़्यादा कुछ आज़माने की कोशिश की।
हमने भाषा को भी हिंदी तक सीमित न रखने की कोशिश की।
हालांकि यह एक हिंदी शो है, लेकिन दक्षिण भारत, कश्मीर और अन्य जगहों के लोगों ने भी इसमें अपनी-अपनी भाषाऍं बोली हैं।
आपको पाग़लपन भरी कॉमेडीज़ बनाने के लिये जाना जाता है। लोग आपसे गो गोवा गॉन जैसी किसी कॉमेडी की उम्मीद में थे। आपने डिजिटल मीडियम पर अपनी शुरुआत के लिये यह विषय क्यों चुना?
हमने हमेशा कई तरह के जॉनर आज़माये हैं।
गो गोवा गॉन की ही तरह हमने शोर इन द सिटी भी बनाई है, जिसमें हमने हँसी-मज़ाक के साथ शहर के काले हिस्से को पर्दे पर उतारा है।
द फैमिली मैन में भी थोड़ा-बहुत मज़ाक और व्यंग्य ज़रूर है।
हमारे पास यह विषय और कॉन्सेप्ट बहुत सालों से था, लेकिन हम आतंकवाद पर बनी एक साधारण स्क्रिप्ट नहीं बनाना चाहते थे।
हम कुछ नया करना चाहते थे।
तो जैसे ही हमें वेब सीरीज़ बनाने का मौका मिला, हमें लगा इससे अच्छा विषय वेब सीरीज़ के लिये हो ही नहीं सकता।
साथ ही इसमें एक नये जॉनर में जाने और उसमें कुछ नया कर दिखाने की चुनौती भी थी।
अपनी पहली वेब सीरीज़ सेक्रेड गेम्स में अपने काम के लिये सैफ़ अली खान ने काफ़ी तारीफ़ें बटोरी हैं। आपने पहले भी उनके साथ काम किया है, तो आपने द फैमिली मैन के लिये उन्हें क्यों नहीं चुना?
नहीं। सैफ़ के लिये हम कई तरह के दिलचस्प किरदार बनाते हैं।
वो बहुत ही अच्छा ऐक्टर है और कोई भी रोल कर सकता है।
लेकिन हमारे लिये सैफ़ को एक बिल्कुल आम आदमी दिखाना काफ़ी मुश्किल हो जाता।
द फैमिली मैन के लिये मनोज बाजपाई बिल्कुल सही हैं; हमें उनके अलावा और कोई भी ऐक्टर नहीं सूझा।
OTT प्लैटफॉर्म पर कई शोज़ आ रहे हैं। क्या आपको प्रतिस्पर्धा महसूस हो रही है?
हमारा ध्यान कुछ अनोखा करने या किसी नये विषय को नये तरीके से दिखाने पर था, कॉन्टैक्ट्स बनाने पर नहीं।
साथ ही, हमें नहीं पता कौन सी फिल्म बन रही है और आगे क्या आने वाला है।
हमें मूवी से जुड़ी ख़बरें नहीं मिलतीं।
जिसके कारण दबाव अपने आप कम हो जाता है। हम बस एक अच्छी कहानी बनाने पर ध्यान देते हैं।
हमें अभी पता चला कि हमारे शो की रिलीज़ के ठीक एक सप्ताह बाद नेटफ़्लिक्स पर बार्ड ऑफ़ ब्लड आ रही है। तो अचानक दोनों की एक-दूसरे से तुलना की जाने लगी है।
हमें इस शो और इसकी रिलीज़ डेट के बारे में नहीं पता था, लेकिन हम जानते हैं कि दर्शक दोनों ही शो देखना चाहेंगे।
दर्शक एक और स्त्री भी देखना चाहते हैं। हम आपकी अगली हॉरर कॉमेडी कब देख पायेंगे?
हाँ, स्त्री के बाद हमें कई प्रस्ताव मिले हैं।
गो गोवा गॉन और स्त्री की सफलता के बाद, हमें हॉरर कॉमेडी फिल्ममेकर्स के रूप में अपनी स्थिति मज़बूत कर लेनी चाहिये।
अब स्त्री के साथ हमने एक नयी ऊंचाई हासिल की है और हम फ़िलहाल हॉरर कॉमेडी बनाने की जल्दी में नहीं हैं।
हम नये आइडियाज़ पर विचार कर रहे हैं।
दो वेब सीरीज़ के साथ हमारी दो नयी मूवीज़ भी आ रही हैं।
क्या आप दोनों अलग-अलग काम करने पर भी विचार कर रहे हैं?
हमने साथ में शुरुआत की, साथ फिल्में बनाई हैं, फिल्म के कोलैबोरेटर्स के रूप में काम किया है और हम आगे भी ऐसा करते रहेंगे।
अभी हम दो लोगों के साथ मिलकर काम करने की ताक़त को महसूस कर रहे हैं।
दो लोगों की कोशिशों के बिना अभी तक के प्रोजेक्ट्स पूरे कर पाना संभव नहीं होता।